Last Updated on: 14th August 2021, 03:09 pm
कॉर्न फ्लोर क्या है ? [What is corn flour?]
मक्के के आते को अंग्रेजी में कॉर्न फ्लोर कहते है. पर दुनिया एक अलग अलग देशो में इसको अलग अलग नामो से जाना जाता है और मायने भी बदलते है. और आज हम कॉर्न फ्लोर , उसका मतलब (Corn flour meaning in Hindi) , उसके फायदे और नुक्सान, उसके व्यंजन इत्यादि पर पूरी चर्चा करेंगे.
कॉर्न फ्लोर जैसा की उपर बताया गया है मक्के या मकई के आते से तैयार किया जाता है. ये पौष्टिक होता है और साथ ही इसके कुछ नुक्सान भी है जिनपर हम चर्चा करेंगे.
सबसे पहले समझते है कॉर्न फ्लौर का हिंदी में क्या मतलब होता है और भारत में इस शब्द के क्या मायने है.
कॉर्न फ्लोर का हिंदी में मतलब और भारत में मायने [corn flour meaning in Hindi and India]
‘कॉर्न फ्लोर’ – इस शब्द के दुनिया के अलग अलग हिस्सों में मतलब अलग अलग बनाते है. चूँकि कॉर्न फ्लोर मक्के को पीस कर बनाया सामान्य भाषा में इसका अनुवाद बनता है मक्के का आटा .
भारत में अगर आप कॉर्न फ्लौर दूकान में मांगेंगे तो आपको मक्के का आटा दिया जायेगा. पर अमेरिका और अन्य पश्चिम देशो में इसका एक प्रकार और आता है और वो है कॉर्न मील फ्लौर।
क्या कॉर्न फ्लौर और कॉर्न मील एक ही है ? – Difference between corn meal and corn flour
कॉर्न फ्लौर और कॉर्न मील दोनों को ही मक्के के पूरे दाने को पीस कर बनाया जाता है. पर कॉर्न फ्लौर में मक्के के पूरे दाने को आटे की तरह पिसा जाता है जबकि कॉर्न मील बनाने के लिए मक्के को मैदे की तरह महीन पिसा जाता है.
दोनों के उपयोग अलग अलग हो सकते है.
भारत में मक्के के आटे को रोटी बनाने के काम में लाया जाता है. कुछ और रेसिपीज में भी इसका उपयोग .होता है.
Difference in corn starch and corn flour – कॉर्न स्टार्च और फ्लोर में अंतर्
जब मक्के को दरदरा पिसा जाता है तब वो कॉर्न फ्लौर होता है. भारत में मक्के के रोटी खाते है और उसके लिए मक्के को भी गेहू की तरह ही पिसा जाता है. वो कॉर्न फ्लौर या मक्के का आटा होता है.
पर जब मक्के की पिली परत को हटा कर सिर्फ सफ़ेद परत को मैदे जैसा महीन पिसा जाता है तो उसे कॉर्न स्टार्च कहते है.
दोनों के ही उपयोग अलग अलग है जिन्हे हम इस आर्टिकल में बाद में डिसकस करेंगे.
पर भारत में कॉर्न फ्लौर, कॉर्न मील फ्लौर और कॉर्न स्टार्च में बहुत ज्यादा कन्फूजन होती है. और इस कन्फूजन को आज हम पूरी तरह दूर कर देंगे.
कॉर्न फ्लौर को भारत में बहुत से लोग कॉर्न स्टार्च से कन्फुज कर देते है. और जैसा हमने ऊपर समझाया दोनों अलग है और दोनों की बनाने की विधिया अलग है.
कोर्न्फ्लौर, कॉर्न स्टार्च और कॉर्न मील फ्लोर बनाने की विधिया
कॉर्न फ्लौर बनाने की विधि – How to make corn flour at home
कॉर्न फ्लौर बनाना बहुत सरल है. मक्के की सूखे दानो को आप आटे जैसा पिसेंगे तो आपको कॉर्न फ्लोर मिलेगा.
इसके लिए कॉर्न या मक्के के दानो को ग्राइंडर में डाल कर १ मिनट के लिए पिसेंगे तो वो मक्के का आटा बन जायेगा.
ये हल्का पीला होगा और दरदरा होगा। बिलकुल वैसे ही जैसे आप गेहू का आटा देखते है और महसूस करते है.
कॉर्न मील फ्लौर बनाने की विधि – how to make corn meal flour at home in Hindi
अगर आप मक्के की पूरे दाने को ज्यादा देर पीसेंगे तो वो मैदे की तरह बारीक हो जायेगा. उस बारीक पिसे आटे को ही कॉर्न मील फ्लौर कहते है. यह कॉर्न फ्लौर से कम पीलापन लिए होता है.
इसका टेक्सचर बिलकुल मैदे जैसा होता है.
कॉर्न स्टार्च बनाने की विधि – How to make corn starch at home in Hindi.
कॉर्न स्टार्च बनाने की विधि थोड़ी .लम्बी है. इसको स्टेप बाई स्टेप समझते है.
१- कॉर्न या मक्के के दानो को पहले पानी में १-२ घंटे भीगा कर रखिये।
२- फिर पानी पूरा निकाल कर इनको सूखा लीजिये।
३- सूखने के बाद इनपर से छिलका हटा लीजिये।
४- जो सफ़ेद भाग बच जाये उसको मैदे जैसा महीन पीस लीजिये। जो बनेगा वो मक्के का स्टार्च या कॉर्न स्टार्च होगा।
भारत में लोगो को एक और कन्फूजन होती है.
कॉर्न फ्लौर और अरारोट के आटे में.
कॉर्न फ्लोर और अरारोट के आटे में अंतर (Is corn flour in Hindi ararot? )
Corn flour and ararot meaning in Hindi.
अरारोट एक जंगली रुट या पौधे की जड़ो को पीस कर बननाया जाता है. ये स्वाधीन होता है. मक्के के आते में स्वाद होता है.
Arrowrut या अरारोट के स्वाधीन होनी की वजह से इसको अक्सर लोग कॉर्न स्टार्च की जगह इस्तेमाल करते है.
फ्लौर ऑफ़ अरारोट की रोटियां नहीं बनाई जाती है इसको स्टार्च के रिप्लेसमेंट के रूप में अधिकतर इस्तेमाल किया जाता है.
मक्के के स्टार्च और अरारोट के पाउडर की न्यूट्रिशनल वैल्यू लगभग सामान होती है. जैसा नीचे दिया गया है.

१०० ग्राम अरारोट में निम्नलिखित पोषक तत्व् पाए जाते है. (Nutritional value of Ararot)
३५७ कैलोरीज
०.०१ ग्राम फैट
०% कोलेस्ट्रॉल
२ मिलीग्राम सोडियम
८८.२ ग्राम कार्बोहायड्रेट
३.४ ग्राम डाइट्री फाइबर
० ग्राम शक्कर या ग्लूकोस
०.३ ग्राम प्रोटीन
० ग्राम विटामिन सी, डी
०.३ मिली ग्राम ग्राम लोह
४० मिली ग्राम कैल्शियम
११ मिली ग्राम पोटासियम
५ मिलीग्राम फॉस्फोरस
जबकि एक पूरे कॉर्न फ्लौर का नुट्रिशन चार्ट इस प्रकार होगा

100 ग्राम कॉर्न फ्लोर में निम्नलिखित पोषक तत्व् पाए जाते है.
३६१ कैलोरीज
फैट ३.८६ ग्राम
सैचुरेटेड फैट ०.५४ग्राम
कोलेस्ट्रॉल ० ग्राम
सोडियम ५ मिलीग्राम
कार्बोहायड्रेट ७६.८५ ग्राम
उसमे डाइट्री फाइबर १३.४ ग्राम एवं ग्लूकोस या शुगर ०.६४ग्राम
प्रोटीन ६.९३ ग्राम
विटामिन डी एवं सी शुन्य
कैल्शियम ७ मिलीग्राम
लोह तत्व् २.३८ मिलीग्राम
विटामिन ए ११ mcg
जैसा आप देख सकते है दोनों के कैलोरीज में बहुत ज्यादा अंतर नहीं है. नुट्रिशन के मामले में दोनों ही कार्बोहायड्रेट से भरपूर है.
कॉर्न फ्लौर के फायदे और नुक्सान (Benefits of cornflour – pros and cons)
कॉर्न फ्लौर के फायदे – benefits of corn flour in Hindi.
१- इसका सबसे बड़ा फायदा इसका ग्लूटेन फ्री (Gluten free) होना है. इससे ये स्वस्थ की दृष्टि से ज्यादा फायदेमंद होता है. गेहू के आटे में अगर आप मक्के का आता मिक्स करके रोटियां बनाएंगे तो वो ज्यादा पोषक और सवास्थवर्धक बनेंगी।
२- कॉर्न फ्लौर में एंटी ऑक्सीडेंट्स भरपूर मात्रा में होते है. रोज सेवन करने से ये आपके शारीरिक स्वस्थ के लिए बेहद फायदेमंद होता है।
३- इसमें मिनरल्स, कैल्शियम आयरन इत्यादि भी होता है जिससे इसकी पोषक वैल्यू बढ़ जाती है.
४- ये पचने में सरल होता है.
५- इसमें फाइबर्स काफी मात्रा में होते है इसलिए ये पेट के लिए बहुत ही फायदे मंद होता है.
कॉर्न फ्लोर में कमिया – Cons of corn flour meaning in Hindi
१- जैसा की आप ऊपर देख सकते है कॉर्न फ्लौर में भरपूर मात्रा में कार्बोहायड्रेट होते है. इसलिए मोटापे से ग्रस्त लोगो को इसका उपयोग कम से कम करना चाहिए। और ख़ास कर अगर आप डाइट पर है तो कॉर्न फ्लोर से तो बिलकुल दूर रहे.
२- डायबिटीज के मरीजों को ये नुक्सान पहुंचा सकता है. कार्बोहायड्रेट शरीर में जाते ही ग्लूकोस में तब्दील हो जाता है. इसलिए जिनको हाई शुगर की समस्या है उनको इससे दूर रहना चाहिए।
कॉर्न फ्लौर से सम्बंधित कुछ प्रश्न और उत्तर
१- क्या कॉर्न फ्लोर दिल के मरीजों के लिए फायदेमंद है?
उत्तर – नहीं। इसमें खराब कोलेस्ट्रॉल बढ़ाने की क्षमता होती है. इसलिए ये अच्छा नहीं माना जाता दिल के मरीजों के लिए.
२- क्या वजन कम करने के लिए मैं कॉर्न फ्लौर का उपयोग कर सकता हु?
उत्तर – नहीं बिलकुल नहीं। इसमें कैलोरीज बहुत अधिक होती है। वजन कम करने प्रक्रिया में ये नुक्सान कर सकता है.
३- मुज़हे डायबिटीज है. क्या मैं कॉर्न फ्लौर खा सकता हु?
उत्तर – नहीं। कॉर्न फ्लौर कार्बोहायड्रेट से भरपूर होता है. इसमें अन्य पोषक तत्त्व बहुत कम होते है. कार्बोहायड्रेट मूलतः शरीर में ग्लूकोस बन जाता है. इसलिए ये हाई ग्लिसेमिक खाद्य पदार्थो में गिना जाता है जो डायबिटीज के लिए हानिकारक है.
४- क्या कॉर्न फ्लौर कब्ज में आराम देता है ?
उत्तर – कॉर्न फ्लौर में फिबेर्स बहुत है. मक्के की आटे को जब बनाया जाता है तब उसमे छिलके सहित दानो को पिसा जाता है. इसलिए उसमे फाइबर बहुत होता है. इस वजह से मक्के का आटा कब्ज में मदद कर सकता है.
५- क्या मक्का भारत में पैदा होता है ?
उत्तर : मक्का मूलतः मैक्सिको की पैदाइश है. पर आज दुनिया में सबसे ज्यादा इसको अमेरिका में उगाया जा रहा है. भारत में भी इसको काफी मात्रा में उगाया जाता है.
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